
Location: Garhwa
सीएचसी मझिआंव के डा.राजू कुमार दास पर सर्पदंश से मृत युवक के पिता ने दर्ज कराई है प्राथमिकी ,सर्वोच्च न्यायालय के एक निर्णय का हवाला देकर प्राथमिकी दर्ज किए जाने को गलत करार दे रहा आइएमए व झासा लिहाजा संयुक्त बैठक़ रविवार को आइएमए के अध्यक्ष डा. नंदकिशोर रजक की अध्यक्षता में हुई। बैठक़ में उपस्थित चिकित्सकों ने मझिआंव थाना में सीएचसी मझिआंव के चिकित्सक डा. राजू कुमार दास पर हुए प्राथमिकी का विरोध किया। साथ ही उक्त मामले को लेकर उपायुक्त एवं पुलिस अधीक्षक से मिलने का निर्णय लिया। साथ ही 24 घंटे में कार्रवाई नहीं होने पर चिकित्सकों ने आंदोलन की चेतावनी भी दी है।
चिकित्सकों ने कहा कि इसी तरह प्राथमिकी होते रहा तो आने वाले दिनों में चिकित्सक काम नहीं कर सकेंगे। जिले में आएदिन चिकित्सकों के साथ मारपीट की घटनाएं घटित हो रही हैं। यही स्थिति रहा तो चिकित्सक अनिश्चितकालीन हड़ताल पर चले जाएंगे। आइएमए के गढ़वा जिला इकाई अध्यक्ष डा. नंदकिशोर रजक ने कहा कि सवोच्च न्यायालय ने एक निर्णय में कहा है कि किसी भी चिकित्सक के विरुद्ध शिकायत होने पर तब तक विचार नहीं किया जा सकता, जब तक आरोपित चिकित्सक की लापरवाही किसी अन्य सक्षम चिकित्सक की जांच के माध्यम से पुष्टि न हो जाए। विशेषज्ञ चिकित्सकों की राय लेने के बाद ही उस चिकित्सक पर कार्रवाई हो सकती है। सर्वोच्च न्यायालय ने अपने निर्णय में यह भी चेताया है कि जब तक तथ्य निर्धारित मापदंड के भीतर स्पष्ट रुप से नहीं आते, तब तक चिकित्सक को परेशान या गिरफ्तार करना गैर कानूनी है। बैठक में झांसा के गढ़वा जिला इकाई के सचिव डा. टी पीयूष, डा. अमित कुमार, डा. आरएनएस दिवाकर, डा. अरशद अंसारी, डा. मनीष कुमार सिंह, डा. कुश कुमार, डा. स्नेहलता राज, डा. माहेरू यामानी, डा. रवि कुमार आदि उपस्थित थे।
-जानें क्या है पूरा मामला –
मझिआंव थाना क्षेत्र अंतर्गत नगर पंचायत के वार्ड नंबर चार स्थित गहेड़ी गांव निवासी पारसनाथ मेहता के 25 वर्षीय पुत्र मनीष कुमार मेहता की गुरुवार की रात में ही सर्पदंश से मौत हो गई। इसे लेकर मृतक के पिता के आवेदन पर मझिआंव थाना में सीएचसी मझिआंव के चिकित्सक डा.राजू कुमार दास के विरुद्ध मुकदमा दर्ज किया गया है। बता दें कि 27 जून 2024 की देर शाम को सांप ने डस लिया था। उसके बाद उसे सीएचसी मझिआंव में ले जाया गया। मृतक के स्वजनों के अनुसार सीएचसी मझिआंव में तब ड्यूटी में मौजूद डा.राजू कुमार दास ने अस्पताल में एंटी वेनम इंजेक्शन उपलब्ध रहने के बावजूद उसका समुचित इलाज नहीं किया और उसे वहां से रेफर कर दिया। जबकि बाहर इलाज के लिए ले जाने के क्रम में उसकी मौत हो गई। इसके बाद उसके शव का पोस्टमार्टम कराने के बाद मृतक के स्वजनों ने 28 जून 2024 को सीएचसी मझिआंव में पहुंचकर चिकित्सक के विरुद्ध कार्रवाई की मांग को लेकर जमकर हंगामा किया और सड़क जाम कर दिया था।